किसानों की हितैषी है वसुंधरा सरकार, फिर क्यों आंदोलन!

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    Vasundhara Government

    राजस्थान की मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे की छवि एक सशक्त, लोकप्रिय और सभी वर्गों को साथ लेकर विकास की राह पर निरंतर आगे बढ़ने वाली राजनेता के रूप में रही है। वसुंधरा राजे का मुख्यमंत्री के रूप में वर्तमान में दूसरा कार्यकाल चल रहा है। इससे पहले वे 2003 से 2008 तक प्रदेश की मुख्यमंत्री रह चुकी है। मरुप्रदेश के रूप में विश्वभर में अपनी खास पहचान रखने वाले राजस्थान के विकास को लेकर मुख्यमंत्री राजे अपने दोनों कार्यकाल में बेहद सजग रही। इस दौरान राजे ने प्रदेश के हित में समझदारी दिखाते हुए बेहद महत्वपूर्ण निर्णय लिए हैं। सीएम वसुंधरा राजे को खासतौर पर किसानों के हित में महत्वपूर्ण फैसले लेने वाली मुख्यमंत्री के रूप में जाना जाता है। हालिया बजट में सबसे खास और बड़ी सौगात भी किसानों को ही मिली है। इतना ही नहीं राजे सरकार के लगभग हर बजट में किसानों के प्रति उनका लगाव साफ तौर पर देखा जा सकता है। किसानों की हितैषी होने के बावजूद वसुंधरा सरकार के खिलाफ किसान आंदोलन कर रहे हैं। ऐसे में किसानों की हितैषी होने के बावजूद एक बार फिर भी क्यों आंदोलन किया जा रहा है? किसका हाथ है इस आंदोलन के पीछे? क्या वाकई कुछ नहीं किया है किसानों के लिए राजे सरकार ने? आइये जानते हैं ऐसे ही सवालों के जवाब…

    राजस्थान के किसानों की सभी 11 सूत्री मांगें पहले ही मान चुकी हैं वसुंधरा राजे सरकार

    राजस्थान में इनदिनों किसान एक बार​ फिर से अपनी मांगों को लेकर जयपुर में विधानसभा का घेराव और महापड़ाव की कोशिश करते नज़र आ रहे हैं। इससे पहले भी राजस्थान में पिछले साल अगस्त और सितंबर माह में किसानों ने अपनी मांगों के लिए आंदोलन किया था। इस पर मुख्यमंत्री राजे ने बड़ा दिल दिखाते हुए किसानों की सभी 11 सूत्री मांगों को मांग लिया था। इन मांगों में से एक किसान कर्ज माफी थी। जिस पर मुख्यमंत्री ने एक विशेषज्ञ कमेटी गठित की थी। हाल ही में कमेटी की सिफारिशों को मानते हुए राजे ने सरकार ने बजट में प्रदेश के किसानों की 50 हजार तक के कर्ज माफी की घोषणा की है। हालिया बजट में राजे सरकार ने विशेष तौर पर किसानों को ध्यान में रखते हुए ही वित्त वर्ष में बड़ी महत्वपूर्ण घोषणाएं की हैं।

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    किसानों के पहली बार 50 हजार तक का कर्ज माफ, 7 लाख नए बिजली कनेक्शन होंगे जारी Vasundhara Government

    वसुंधरा राजे सरकार ने हालिया बजट में ऐतिहासिक फैसला लेते हुए प्रदेश के किसानों के लिए प्रति किसान 50 हजार रुपये तक का कर्ज माफी की घोषणा की है। इससे राज्य के करीब 20 लाख किसानों का 50 हजार रुपये तक का कर्ज माफ किया जाएगा। इस पर राजस्थान सरकार को करीब 8 से 9 हजार करोड़ रुपये का वित्तीय भार आएगा। इसके अलावा राज्य कृषि ऋण आयोग के गठन की भी घोषण की है। राजस्थान में किसानों पर 30 सितंबर तक के 50 हजार तक के लोन और ओवर ड्यू पर ब्याज माफ किया जाएगा। प्रदेश के किसानों को 7 लाख नए बिजली कनेक्शन दिए जाएंगे। मुख्यमंत्री राजे ने बजट में किसानों के लिए एक और बड़ी घोषणा की है। इससे प्रदेश के करीब 50 लाख किसानों को फायदा होगा। राजे ने कृषि भूमि पर लगने वाले भू-राजस्व को माफ करने की घोषणा की है। इसके साथ ही ग्रामीण इलाकों में कृषि भूमि के आवासीय उपयोग परिवर्तन के लिए देय राशि में भी कटौती की है। राजस्थान के सभी जिलों में नंदी गौशाैला परियोजना के तहत गौशाला खोले जाएंगे। इसके तहत 50 लाख तक की सहायता राशि भी दी जाएगी। इसके अलावा सीएम राजे ने बजट में निजी गोशालाओं को 6 महीने तक सरकारी खजाने से पैसे दिए जाने की भी घोषणा की है। Vasundhara Government

    प्रदेश के किसानों को बहकाने और बेवजह आंदोलन के लिए खड़ा करने के पीछे इनका हाथ Vasundhara Government

    किसान हितैषी मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने हालिया बजट घोषणाओं में किसानों को सबसे टॉप पर रखा है। किसानों की 50 हजार तक के कर्ज माफी की मांग को मानते हुए राजे सरकार ने करीब 20 लाख किसानों के कर्ज माफी की घोषणा की है। इसके साथ ही बजट में कई बेहतरीन सौगातें भी किसानों को दी गई है। इससे पहले किसान आंदोलन के दौरान सरकार के साथ हुए समझौते में राजे सरकार ने किसानों की सभी 11 सूत्री मांगों को मान लिया था। इनके ​अलावा वर्तमान में सॉयल हेल्थ कार्ड स्कीम, सोलर पम्प कृषि कनेक्शन योजना, फसल भंडारण एवं ऋण सुविधा, समर्थन मूल्य पर फसल खरीद, विभिन्न फसलों के लिए कृषि अनुदान योजना, मुफ्त बिजली कनेक्शन योजना सहित कई योजनाएं चलाई जा रही हैं। इन सब के बावजूद किसान कांग्रेस नेताओं के बहकावे में आकर आंदोलन करते हुए जयपुर की ओर कूच कर रहे हैं। Vasundhara Government

    कांग्रेस प्रदेश के किसान नेताओं को अपने बातों में लेकर आगामी चुनावों को देखते हुए बड़ा लालच दे रही है। यही वजह है कि प्रदेश में किसान हितैषी मुख्यमंत्री होने के बावजूद किसान अपने नेताओं के बहकावे में आकर आंदोलन कर रहे हैं। कांग्रेस आगामी विधानसभा चुनाव को देखते हुए भाजपा सरकार की नकारात्मक छवि दिखाने के लिए किसानों को उकसाने का काम कर रही है। जिससे आगामी विधानसभा चुनाव में प्रदेश के किसानों को किसी भी प्रकार से अपनी ओर किया जा सके। बता दें, राजस्थान की बड़ी संख्या में आबादी ग्रामीण है और प्रदेश की आर्थिक अर्थव्यवस्था कृषि पर आधारित है। Vasundhara Government

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