राजस्थान सरकार प्रदेश को देश की अग्रणी पंक्ति में खड़ा करना चाहती हैं। इसके लिए मुख्यमंत्री राजे ने कई योजनाओं ओर कार्यक्रमों को लागू किया हैं। पूर्ववर्ती गहलोत सरकार में राजस्थान को देश का सबसे पिछड़ा राज्य होने का नाम मिला था लेकिन वर्तमान मुख्यमंत्री ने राजस्थान को देश में एक अलग स्थान दिया हैं। आज राजस्थान की योजनाओं को दूसरे राज्यों व दूसरे देशों में जगह मिल रही हैं। राजस्थान अब देश का पिछड़ा नही बल्कि देश का सबसे अग्रणी राज्य हैं। मुख्यमंत्री राजे ने कहा कि ‘हमने राजस्थान के विकास के लिए कभी खजाना खाली होने का बहाना नही बनाया जबकि पूरा प्रदेश जानता हैं कि राजस्थान की आर्थिक हालात क्या हैं। ‘
मुख्यमंत्री राजे ने कहा की राज्य सरकार की नीति ’सबका साथ-सबका विकास’ की है। सरकार इसी सोच के साथ सभी क्षेत्रों का समग्र विकास कर रही है। उन्होने कहा कि हमने विकास कार्यों के लिए कभी खजाना खाली होने का बहाना नहीं बनाया। हमने सत्ता संभाली तो हमारे सामने बड़ी चुनौतियां थीं लेकिन उनका डटकर सामना करते हुए हमने प्रदेश को निचले पायदान से अग्रणी पक्ति में ला खड़ा किया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि मैंने एक महिला होने के नाते प्रदेश को अपने परिवार की तरह सम्भाला है और एक महिला कभी भी अपने परिवार के स्वाभिमान पर आंच नहीं आने देती। करीब 2 लाख करोड़ रूपये के कर्ज के बावजूद हमने कुशल वित्तीय प्रबन्धन के जरिए राजस्थान के मान-सम्मान को देश और दुनिया में बढ़ाया है। हमारे वित्तीय प्रबन्धन का ही नतीजा है कि विकास के लिए पैसे की कोई कमी नहीं है।
हमारे तीन साल उनके पांच साल से बेहतर
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी सरकार ने तीन सालों में जो अच्छे काम और ठोस परिणाम हासिल किए है वो पिछली सरकार पांच सालों में भी नहीं कर पाई थी। हमने तीन सालों में विकास की धारा को गांव-ढ़ाणी तक पहुंचाया है। हमारी सरकार ने 3 वर्षां में पेयजल पर 13 हजार करोड़ रूपये खर्च किए जबकि गत सरकार ने 3 वर्षों में मात्र 5800 करोड़ रुपये तथा 5 साल में मात्र 12 हजार 225 करोड़ रूपये व्यय किए थे। इसी प्रकार किसानों को तीन साल में 45 हजार 691 करोड़ रुपये के ऋण वितरित किए हैं जबकि गत सरकार ने पूरे 5 वर्षो में केवल 43 हजार करोड़ रुपये के ऋण वितरित किए थे। हमने सड़कों के विकास में पिछले तीन वर्ष में कुल 12 हजार 509 करोड़ रुपये खर्च किए जबकि गत सरकार ने अपने तीन वर्षां में मात्र 6 हजार 108 करोड़ रुपये खर्च किए थे। इसी प्रकार हमने किसानों को बिजली पर तीन साल में 18 हजार 600 करोड़ का अनुदान दिया जबकि पिछली सरकार ने केवल 7 हजार करोड़ रूपये का अनुदान ही दिया था।
कांग्रेस ने की सिर्फ खानापूर्ती
कांग्रेस ने जितना कार्य 5 साल में किया था उससे कही अधिक भाजपा सरकार अभी तक कर चुकी हैं। राज्य में तीन साल में 6132 ट्यूबवेल स्थापित किए जबकि कांग्रेस सरकार ने केवल साढ़े पांच हजार ट्यूबवेल लगवाकर अपनी खाना पूर्ती के अलावा कुछ नही किया ।राजस्थान भाजपा सरकार ने राजस्थान को शुद्ध पानी देने के लिए भी कई योजनाओं को लागू किया हैं। कांग्रेस सरकार ने अपने कार्यकाल में यानी 5 साल में 33 आरओ प्लांट लगाकर कितना शुद्ध पानी पीने को दिया यह किसी को बताने कि आवश्यकता नही हैं लेकिन मुख्यमंत्री राजे के नेतृत्व में राजस्थान सरकार ने गांव -गांव, ढाणी-ढाणी में आमजन को शुद्ध पीने का पानी उपलब्ध करवाया । वसुंधरा सरकार ने अभी तक पूरे प्रदेश में 1130 से ज्यादा आरओ प्लांट लगा दिए हैं।
हमने 5 हजार किमी राजमार्ग किए घोषित, गहलोत ने 174 किमी राजमार्गों पर किया काम
वसुंधरा सरकार ने अभी तक राजस्थान के कोन-कोने को सड़कों से आच्छादित करने के लिए 12508 करोड़ रुपए खर्च कर चुकी हैं। जबकि कांग्रेस सरकार ने 5000 करोड़ रुपए ही खर्च किए जिससे राजस्थान बीमारु प्रदेशों की श्रेणी में खड़ा हुआ। भाजपा सरकार ने प्रदेश में 5 हजार किलोमीटर पर नए राजमार्ग घोषित किए हैं जबकि पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार ने 174 किमी लंबाई के राजमार्गों पर ही काम किया। उन्होने कहा कि भाजपा सरकार ने मेवात क्षेत्र में 2116 काम पूरे किए हैं जिनसे आमजनता लाभांवित हो रही हैं लेकिन गहलोत सरकार ने , जबकि कांग्रेस सरकार ने 1061 काम पूरे करवाकर अपनी खानापूर्ती मात्र पूरी की। पंचायत राज में हमने तीन साल में राज्य वित्त आयोग के तहत 4 हजार करोड़ से ज्यादा राशि ट्रांसफर की, जबकि कांग्रेस आधा भी नहीं कर पाई।
बालिका शिक्षा को दिया मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने बढ़ावा
भाजपा सरकार ने 1222 जनजाति बालिकाओं को शिक्षित करने के लिए बालिकाओं को मुफ्त स्कूटी वितरित की। जबकि कांग्रेस ने केवल 773 स्कूटी वितरित की। ऐसा ही आंकड़ा स्वरोजगार का है, जिसमें जनजाति लोगों को फायदा तब नहीं दिया गया। सामाजिक न्याय के तहत करीब दो लाख व्यक्तियों को तीन साल में हमारी सरकार ने लाभान्वित किया। जबकि कांग्रेस सरकार ने पांचवां हिस्सा भी लाभान्वित नहीं किया।
रिसर्जेंट राजस्थान में आया प्रदेश में निवेश, 5 हजार करोड़ का काम धरातल पर
राजस्थान में भाजपा सरकार पहली बार रिसर्जेंट राजस्थान के माध्यम से इन्वेस्टमेंट लेकर आई। इस आयोजन से राजस्थान सरकार ने करीब 3800 करोड़ के 470 करारों के माध्यम से प्रदेश में विकास की बयार चलाई। वर्तमान में करीब 5 हजार करोड़ का निवेश हो चुका हैं या किसी न किसी कंपनी का राजस्थान में काम चल रहा हैं प्रदेश के युवाओं को रिसर्जेंट राजस्थान के माध्यम से रोजगार मिला हैं।
हर क्षेत्र में राजस्थान ने किया विकास
मुख्यमंत्री राजे ने कहा कि सरकार ने राजस्थान में पर्यटन, कला एवं संस्कृति, चिकित्सा विभाग, कौशल उद्यमिता, शिक्षा, स्कूलों के क्रमोनयन, स्कूली टीचर्स, पंचायती राज संस्थाओं, पालनहार योजना, अल्पसंख्यकों के कल्याण सहित सभी विभागों में बेहतर कार्य किया हैं