सरकारी चिकित्सकों की खूनी स्ट्राइक अब समाप्त हो चुकी है। रविवार दोपहर 2:30 बजे से शुरू हुई यह वार्ता करीब 9 घंटे तक चली और रात 11:30 बजे 33 सूत्रीय समझौते पत्र पर हस्ताक्षर हुए। राजस्थान चिकित्सा मंत्री कालीचरण सराफ के बुलावे पर राजस्थान चिकित्सक संघ के अध्यक्ष अजय चौधरी अपनी 5 सदस्यीय टीम के साथ सचिवालय पहुंचे और काफी उतार—चढ़ाव के बाद समझौता वार्ता पर साइन हुए। Doctors Strike in Rajasthan
सोमवार से सभी हड़ताल पर गए चिकित्सक व रेजिडेंट डॉक्टर्स ने सरकारी अस्पतालों में अपने कार्यभार संभाव लिए हैं। इस आंदोलन के खत्म होने से सोमवार से सरकारी अस्पतालों में आने वाले मरीजों को राहत मिलेगी। 7 दिनों तक चली इस हड़ताल को खूनी हड़ताल या खूनी स्ट्राइक का नाम दिया जा सकता है क्योंकि पिछले 7 दिनों में इलाज के अभाव में प्रदेशभर में 30 से ज्यादा मरीजों को जान से हाथ धोना पड़ा है। कल भी जोधपुर में इलाज के अभाव में एक मरीज ने दम तोड़ दिया जबकि हाल ही में कोटा शहर में 5 बच्चों की मौत हुई थी। Doctors Strike in Rajasthan
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खैर, जो भी हुआ लेकिन चिकित्सक संघ का कहना है कि चिकित्सकों की मांगों के सामने मरीजों को तड़पता देखना एक दुख अहसास है। यही वजह रही कि चिकित्सा संघ के अधिकारी राजस्थान सरकार के साथ वार्ता पर सहमत हुए। राजस्थान सरकार की ओर से चिकित्सक संघ की करीब—करीब सभी मांगें मान ली गई हैं। मांग पत्र में 5 मांगें ऐसी भी थी जिनपर स्वीकृति उस समय संभव नहीं थी। इस पर समिति गठित कर योजनाबद्ध तरीके से विचार किए जाने पर सहमति बनी है। इस कमेटी में सेवारत चिकित्सकों के दो प्रतिनिधि भी शामिल होंगे। Doctors Strike in Rajasthan
इससे पहले दोपहर 1:50 मिनिट पर चिकित्सा संघ का 5 सदस्यीय दल सचिवालय पहुंचा। उसके तुरंत बाद 2:10 मिनिट पर चिकित्सा मंत्री कालीचरण सराफ वहां पहुंचे और दोपहर 2:30 बजे वार्ता की शुरूआत हुई। 5 चरणों में वार्ता का दौर चला और इस दौरान कई नाटकीय घटनाक्रम देखने को मिले। एकल पारी में अस्पतालों में सेवाएं देने और दस हजार ग्रेड—पे की बात पर लगातार गतिरोध बना रहा। लेकिन अंत में रात 9 बजे एकल पारी मामले को उच्च स्तर पर ग्रेड—पे मामले को केबिनेट में भिजवाने पर सहमति बनी। सेवारत चिकित्सकों की मांगों पर सहमति बनने के बाद रेजीडेंट्स को बुलाया गया। काफी गहमा—गहमी के बाद रेजीडेंटस ने भी सोमवार से अस्पताल लौटने की घोषणा कर दी। Doctors Strike in Rajasthan
वार्ता बैठक में चिकित्सा मंत्री कालीचरण सराफ, एसीएस वित्त डी.बी. गुप्ता, प्रमुख सचिव गृह दीपक उप्रती, मुख्य सचिव मेडिकल वीनू गुप्ता, सेवारत चिकित्सा संघ के अध्यक्ष अजय चौधरी व अन्य प्रतिनिधि शामिल रहे। Doctors Strike in Rajasthan