राजस्थान में वर्ष 2018 के महीने एक के बाद एक जैसे-जैसे गुज़रते जा रहे हैं वैसे-वैसे आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर प्रदेश में राजनीतिक हलचल बढ़ने लगी है। इसी साल के अंत में राजस्थान समेत 3 राज्यों में विधानसभा चुनाव होने हैं। ये चुनाव कांग्रेस और बीजेपी दोनों की प्रमुख दलों के लिए कई मायनों में महत्वपूर्ण है। Rajasthan Assembly Elections 2018
राजस्थान के साथ मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में अक्टूबर से दिसंबर के बीच विधानसभा चुनाव करवाए जाने की संभावना है। हालांकि, अभी तक केन्द्रीय निर्चाचन आयोग ने चुनावों की तारीख की कोई घोषणा नहीं की है। फिलहाल इन तीनों ही राज्यों में बीजेपी का शासन है। कांग्रेस इन राज्यों में सत्ता में वापसी का बेसब्री से इंतजार कर रही है। लेकिन कांग्रेस को अपनी डगर कठिन होती नज़र आ रही है। हाल ही में कांग्रेस ने बड़े नेताओं की ओर ऐसे संकेत किए हैं जिससे उन्हें निराशा हाथ लग सकती है। आइये जानते हैं इस बारे में विस्तार से.. Rajasthan Assembly Elections 2018
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टिकट वितरण के लिए अपनाए जा सकते हैं नए फार्मूले
हाल ही में कांग्रेस पार्टी के टिकट वितरण के नए फार्मूले की बात सामने आयी हैं। इससे कुछ नेताओं की टिकट मिलने की आस बढ़ेगी तो कई नेताओं को निराशा भी झेलनी पड़ेगी। कांग्रेस के उच्च स्तरीय नेताओं की गत दिनों हुई चुनावी मंत्रणा में इस बार विधानसभा चुनाव में टिकट वितरण के लिए नए फार्मूले पर चर्चा हुई है। इसमें लगातार दो बार चुनाव हार चुके एवं गत विधानसभा चुनाव में 20 हजार से ज्यादा से मात खाए पार्टी नेताओं के इस बार टिकट नहीं देने पर विचार किया गया। Rajasthan Assembly Elections 2018
हालांकि इस फार्मूले पर अभी नीतिगत निर्णय नहीं हुआ है। राजस्थान विधानसभा चुनाव में अब छह महीने से भी कम समय बचा है। ऐसे में प्रमुख राजनीतिक दलों ने अपनी चुनावी रणनीतियों पर काम करना शुरू कर दिया है। इस बार राजस्थान में सत्ता वापसी का सपना देख रही कांग्रेस टिकट वितरण से लेकर चुनाव प्रचार की रणनीति बनाने पर खासा ध्यान दे रही है। इस संबंध में पिछले दिनों दिल्ली में कांग्रेस के प्रदेश स्तरीय बड़े नेताओं की राष्ट्रीय अध्यक्ष से चर्चा भी हुई है। Rajasthan Assembly Elections 2018
नए फॉर्मूले से कांग्रेस के दिग्गज नेताओं को हाथ लग सकती है निराशा
राजस्थान में आगामी विधानसभा चुनाव में टिकट वितरण प्रस्तावित फार्मूले को लागू करने से प्रदेशभर में कांग्रेस का चुनावी गणित गड़बड़ाने की संभावना है। इसका कारण यह है कि 2013 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को बीजेपी से बुरी तरह मात मिली थी, और कांग्रेस के कई वरिष्ठ नेता 20 हजार से ज्यादा अंतर से चुनाव हारे हैं। ऐसे में नए फार्मूले से इन नेताओं के टिकट कट सकते हैं। अगर इन नेताओं के टिकट कटते हैं तो पार्टी के समक्ष ऊहापोह की स्थिति बन सकती है।
पार्टी को अचानक ही कई क्षेत्रों में नए चेहरों की तलाश करनी पड़ेगी। ऐसे में टिकट को लेकर पार्टी कार्यकर्ताओं में खींचतान की आशंका भी है। अभी तक बड़े चेहरों के चलते पार्टी को ऐसी समस्या से नहीं जूझना पड़ता था। वहीं ज्यादातर सीटों पर नए चेहरों पर दांव लगाना भी आसान नहीं है। ऐसे में सत्ता का सपना संजो रही कांग्रेस के लिए प्रदेश की सभी 200 सीटें अहम मानी जा रही हैं। Rajasthan Assembly Elections 2018