कौशल विकास में राजस्थान लगातार तीसरे वर्ष देशभर में अव्वल, मिला गोल्डन अवॉर्ड

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कौशल विकास द्वारा युवाओं को सक्षम और समर्थ बनाने वाली राजस्थान सरकार की नीतियों को देशभर में प्रोत्साहन मिला है। कल नई दिल्ली में केन्द्रीय कौशल विकास एवं उद्यमिता राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) राजीव प्रताप रूडी ने स्किल इंडिया समिट एवं अवार्ड समारोह के अंतर्गत अखिल भारतीय स्तर पर कौशल विकास के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य के लिए राजस्थान को एसोचैम स्वर्ण पदक देकर सम्मानित किया। राजस्थान सरकार की तरफ से यह पुरस्कार प्रदेश के कौशल, नियोजन एवं उद्यमिता मंत्री डॉ. जसवंत सिंह यादव ने ग्रहण किया।

कौशल विकास के क्षेत्र में भारत में पहले पायदान पर है राजस्थान:

युवाओं को कौशल प्रशिक्षण देकर उन्हें समुचित रोजगार प्रदान कर सक्षम बनाने का ध्येय लिए राजस्थान में संचालित किया जा रहा कौशल विकास कार्यक्रम देश भर में अव्वल दर्ज़े पर है। पिछले कुछ सालों से राजस्थान की मुख्यमंत्री वसुन्धरा राजे ने प्रदेश के बेरोजगार युवाओं को हुनरमंद बनाकर रोजगार दिया है। इस तरह कौशल विकास को प्राथमिकता देकर राज्य के विकास में सक्षम युवाओं की भागीदारी सुनिश्चित की है। कौशल विकास के क्षेत्र में राजस्थान सरकार के सकारात्मक प्रयासों से प्रदेश लगातार तीसरी बार एसोचेम गोल्डन अवॉर्ड से सम्मानित हुआ है।

नए आईटीआई की स्थापना कर रही है राजस्थान सरकार:

युवाओं में कौशल विकास और प्रशिक्षण की दिशा में गहन ध्यान देने वाली मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने राज्य के इस वर्ष के बबाजत में नए औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों (आईटीआई) की स्थापना करने की  घोषणा की थी। अपनी इस घोषणा पर काम करते हुए मुख्यमंत्री राजे ने राज्य की 18 पंचायत समितियों में नई सरकारी आई.टी.आई. की नींव रखी है। उन्नत प्रशिक्षण से युवाओं को उधमिता से जोड़ने वाली इस सरकारी परियोजना की लागत करीब 162 करोड़ रुपये है। गौरतलब है कि प्रदेश सरकार पिछले तीन सालों से प्रदेश के युवाओं को काबिल और हुनरमंद बनाने की दिशा में नई-नई पहल कर रही है। इसी के तहत सरकार ने पिछले साल 69 नए आईटीआई केंद्रों की स्थापना की थी।राजस्थान में एसडीएसईई के निर्माण के बाद आईटीआई, रोजगार तथा आरएसएलडीसी में प्रभावी समन्वय बन गया है। प्रदेश के इन प्रशिक्षण केंद्रों पर नई मशीनरी और उपकरणों के लिए सरकार ने पिछले साल 146 करोड़ रुपये खर्च किए थे। राजस्थान के बेरोजगार व्यक्तियों की वित्तीय सहायता को बढ़ाकर सरकार ने राज्य के श्रम और रोजगार विभाग के लिए कुल व्यय 21.3% तक बढ़ाया है।

सिर्फ प्रशिक्षण ही नहीं, युवाओं को रोजगार भी दे रही है राजस्थान सरकार:

युवाओं को प्रशिक्षित बनाने के लिए राजस्थान कौशल एवं आजीविका विकास निगम राज्य के धौलपुर, झालावाड़ और राजसमंद में सरकारी आईटीआई में नए-नए पाठ्यक्रम प्रारम्भ किए जा रहे हैं।    इनमें इलेक्ट्रिशियन, कंप्यूटर ऑपरेटर और प्रोग्रामिंग सहायक कोर्स भी शुरू किए जा रहे हैं। अपने बजट में भी सरकार ने सरकारी विभागों और उद्यमों में हुनर कार्य के अंतर्गत 1.50 लाख लोगों को रोजगार उपलब्ध करवाने का लक्ष्य रखा है।

राज्य के बेरोजगार युवाओं के हित में सोचते हुए राजस्थान सरकार ने अपनी बजट घोषणा में भी अक्षत योजना के तहत वित्तीय सहायता में बढ़ोतरी की है। सरकार की इस योजना के अंतर्गत अब बेरोजगार युवकों के लिए मासिक भत्ता 500 रूपए से बढ़ाकर 650 रूपए कर दिया गया है। इसी के तहत महिलाओं और दिव्यांगों को प्रति माह 750 रुपये की सहायता राशि दी जा रही है।

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